चन्द्र दर्शन : महत्व, पूजा विधि और तिथि
चन्द्र दर्शन हिंदू पंचांग के अनुसार अमावस्या के बाद आने वाली शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा को कहा जाता है। इस दिन चन्द्रमा का पहला दर्शन करना विशेष रूप से शुभ माना जाता है।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो व्यक्ति इस दिन चन्द्र दर्शन करता है उसे दीर्घायु, सुख-समृद्धि और शुभ फल की प्राप्ति होती है।
चन्द्र दर्शन का महत्व
- चन्द्र दर्शन से मानसिक शांति और संतुलन प्राप्त होता है।
- यह दिन नए कार्यों की शुरुआत के लिए शुभ माना जाता है।
- अमावस्या के बाद चन्द्रमा के दर्शन से जीवन में नई ऊर्जा और सकारात्मकता आती है।
- वैदिक ज्योतिष में चन्द्रमा को मन और भावनाओं का कारक माना गया है, इसलिए चन्द्र दर्शन का विशेष महत्व है।
चन्द्र दर्शन की परंपरा
- अमावस्या के अगले दिन शाम को चन्द्रमा के पहले दर्शन किए जाते हैं।
- दर्शन से पूर्व स्नान करके शुद्ध वस्त्र धारण करना शुभ माना जाता है।
- चन्द्रमा को जल अर्पित कर, चावल, श्वेत पुष्प और श्वेत वस्त्र चढ़ाए जाते हैं।
- कई लोग इस दिन व्रत रखते हैं और चन्द्रमा को अर्घ्य देकर व्रत का पारण करते हैं।
आगामी चन्द्र दर्शन की तिथियाँ
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23 सितंबर 2025, मंगलावर
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23 अक्टूबर 2025, गुरुवर
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22 नवंबर 2025, शनिवार
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