ना जाने किस भेष में आकर,
काम मेरा कर जाते हैं,
मैं जो भी माँगू मेरे महादेव
चुपके से दे जाते हैं,
मैं जब भी उनका ध्यान धरूँ,
मन ही मन शिव का नाम जपूँ,
महादेव आ जाते मेरे सामने,
महादेव आ जाते मेरे सामने
बड़े कृपालु बड़े दयालु,
मेरा भोला भंडारी,
भक्तोँ की हर खबर है रखते,
जाने कैसे त्रिपुरारी,
मैं तो निष दिन उनकी सेवा करूँ,
मन ही मन शिव का नाम जपूँ,
मैं तो निष दिन उनकी सेवा करूँ,
मन ही मन शिव का नाम जपूँ,
ओ महादेव आ जाते, मेरे सामने,
महादेव आ जाते, मेरे सामने,
धन दौलत वर पुत्र बाँटते,
फिरते महल अटारी ,
भस्म रमाये पर्वत मरघट,
घूमे बनके भिखारी,
मिले जो भी सच्चे मन से कहूँ,
मन ही मन शिव का नाम जपूँ,
मिले जो भी सच्चे मन से कहूँ,
मन ही मन शिव का नाम जपूँ,
ओ, महादेव आ जाते, मेरे सामने,
महादेव आ जाते, मेरे सामने